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Wednesday, January 21, 2009

२० जनवरी को जन्मे पितामह

२० जनवरी एक ऐतिहासिक दिन लेकिन किसके लिए अमेरिका के लिए या एक तरफ़ खड़े पूरे विश्व मंच के लिए शायद यह अब रहस्य न रह जाए /बराक ओबामा ४४ वे और पहले अश्वेत पितामह अमेरिका के ,ने पूरे विश्व में उत्साह पैदा किया है लेकिन शायद विश्व मंच यह भूल रहा है की पितामह अमेरिका के हितों के लिए है न की विश्व मंच के लिए जिसका सीधा परिणाम हम २६/११ हमले में नई नवेली अमेरिकन विदेश मंत्री हिलेरी क्लिंटन के बयान से देख सकते है "अब अमेरिका पाकिस्तान को तीन गुना अधिक वित्तीय सहायता प्रदान करेगा ताकि लोकतंत्र मजबूत हो सके " इस बयान का मतलब सीधा है की अमेरिका तेल के लिए कुछ भी करेगा /और दूसरी तरफ़ हम आतंक वाद के ख़िलाफ़ एक जुट होंगे का नारा बुलंद कर रहा है /पितामह ने अंतररास्ट्रीय राजनीति से विशेषज्ञता हासिल की है और इसी लिए शायद बयान की तारीफ़ भी कर रहे है ,पितामह जानते है की तेल उत्पादक देशो से पाकिस्तान के रिश्ते मजबूत है और बिना पाकिस्तान से दाल गलाए काम नही चलेगा /और वाकई इनकी विशेषज्ञता को मानना पड़ेगा /बुश जी शायद जूता खाने के बाद सदमे में है खैर पितामह के पिछलग्गों को विवेक मिश्रा की तरफ़ से बध्हाई /जारी रहेगा विवेक मिश्रा

2 comments:

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  2. क्या खूब उम्दा अल्फाज़ कहे हैं आपने भाई गज़ब है नेता जी

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